PE Ratio क्या होता है हिन्दी मे?

PE Ratio क्या है? किसी भी कंपनी का PE Ratio कैसे Check करे?|Stock Analysis Series #1

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नमस्कार दोस्तों!! आज हम PE ratio के बारे मे जानेगे की PE ratio क्या होता है? PE ratio से केसे पता चल सकता है की share सस्ता है या महगा वो जानेगे। साथ ही जानेगे market cap क्या होता है। और PE ratio से और एक ratio जुड़ा हुआ है EPS क्या है केसे EPS ratio से आप PE ratio निकाल सकते है?

आज से हम स्टॉक मार्केट की Series Start कर रहे है तो हम Stock Analysis करना सिखगे तो 30-40 आर्टिकल ऐसे होगे तो आप रोज अपना 10 Minute निकाल कर रोज Share Market के बारे मे सीख सकते है तो आप हमारे कुछ basic article share market के है जिससे आप बेसिक जानकारी सीख लो।

तो आज हम एक FMCG कंपनी का example देखेगे।

  • FMCG Full Form : Fast Moving Consuming Goods

यानि रोज़मर्रा की चीजे जो हम रोज use करते है।

  • भारत मे FMCG मे सबसे बड़ी कंपनी है Hindustan Unilever company।

तो हमे किसी भी कंपनी का analysis करने के लिए उसकी सारी information चाहिए अभी क्या चल रहा है ओर Past मे केसा था। तो एक अच्छी Website है Finology का Ticker tool है जिसमे आप easily कोई भी कंपनी का डाटा देख सकते है।

By Finology Ticker

आप image मे देख सकते है की केसे सारा डाटा दिया हुआ है तो पहले है Market Cap.

Market Cap (What Is Market Cap In Hindi)

कंपनी के जो भी अभी हाल ही मे  Total shares है उसको अभी जो market मे share price चल रहा है उससे गुणा(*) करेगे तो अभी आज के दिन जो market मे उस कंपनी की क्या value चल रही है वो आएगा।  

Market cap कितने प्रकार के होते है? (Types of market cap)

Market cap तीन प्रकार के होते है।

1. large cap:- जिस कंपनी की market cap 20000 करोड़ रूपय से ज्यादा होती है वो large cap कहलाती है।

2. mid cap:- जिस कंपनी की market cap 5000 करोड़ से 20000 करोड़ के बीच है वो mid cap market cap का प्रकार कहलाता है।

3. small cap:- जिस कंपनी की market cap 5000 करोड़ से कम है वो small cap वाली कंपनी कहलाती है।

कोई company decide नही करती। मार्केट मे जो price चल रहा है उससे  current value आती है। तो ये share के हिसाब से रोज बदलती रहती है। market cap के हिसाब से उस कंपनी का size पता चलता है की बड़ी है या छोटी। अगर आप ज्यादा जानना चाहते है मार्केट केप के बारे मे तो ये आर्टिकल पढिए।

PE Ratio (What Is P/E In Stock Market In Hindi)

PE Ratio यानि price per earning Ratio। इसका ये मतलब है की आप कंपनी को उसके प्रॉफ़िट के हिसाब से कितना गुना पैसा दे रहे हो।

  • PE Ratio = Price per share/Earning per share

ये फॉर्मूला से मिलता है। इसलिए आपको EPS-Earning per share पहले समजना होगा।

EPS Ratio क्या है? (what is EPS in stock market in hindi)

  • Earning per share= net profit/ no. of shares

Earning per share यानि कंपनी का कुल प्रॉफ़िट अगर सारे share holder को share के हिसाब बाट देतो कितना मिलेगा वो है।

जेसे एक business मे 4 partner है तो उसको  Rs. 100 का profit हुआ तो 4 लोग को 100/4=25 का प्रॉफ़िट मिलेगा ऐसे ही किसी भी कंपनी का EPS Earning per share निकलता है। PE Ratio निकालने के लिए EPS निकलना जरूरी है ओर समजना भी जरूरी है।

तो HUL की अभी price 2190 चल रहा है ओर EPS 27 रुपय तो PE Ratio 70 आया तो आप HUL कंपनी को उसकी 1 साल की पर share की 70 गुना पैसा दे रहो। तो क्या आप किसी कंपनी को 1 रुपय प्रॉफ़िट के 70 रुपय देगे?

तो हम PE Ratio देख कर भी share खरीद नही सकते की किसी कंपनी का PE ज्यादाहै ये ज्यादा है या कम है तो हमे ये  कंपनी के share खरीदने चाहिए। क्यूकी अगर ऐसा होता तो सारे लोग share मार्केट से पैसा कमा रहे होते।

लेकिन आज कल ज्यादा growth होगी ये सोच कर share खरीदे जाते है की कंपनी की ग्रोथ अच्छी रही तो PE बड़ेगा ओर हम मुनाफा कमाएगे।

इसलिए finology Ticker पर आप आगे के सालो का, महीनो का भी PE Ratio compare कर सकते है ओर ग्रोथ पता लगा सकते है ओर प्रॉफ़िट के हिसाब से भी PE Ratio देख सकते है की किस कंपनी का प्रॉफ़िट केसे बढ़ रहा है ओर केसे उसके साथ PE हो रहा है।

HUL कंपनी का प्रॉफ़िट ग्रोथ 5 साल मे 13.97% था जो 3 साल मे बढ़ा कर 14.95% था ओर 1 साल से वो 18.05% से प्रॉफ़िट बढ़ा रही है। ओर 3 साल (may 2019) पहले HUL का PE ratio 58-59 के आसपास रहा। may 2020 मे 53 से 89 हुआ ओर average 73 तक रहा। may 2021 मे 70-80 के बीच रहा. जो आप नीचे image मे देख सकते है।

तो प्रॉफ़िट के साथ PE Ratio भी बढ़ा लेकिन हमेशा ऐसा नही होता कुछ कंपनी के प्रॉफ़िट बढ़ा है लेकिन उसका PE कम रहा है एक कंपनी 3 साल से 14% प्रॉफ़िट बड़ा रही है एक साल से 27% के आसपास  उसका प्रॉफ़िट बड़ा लेकिन उसका PE कम हो रहा है ओर अभी कुछ बढ्ने को दिख रहा है तो प्रॉफ़िट का ओर PE Ratio का कनैक्शन तो है लेकिन हमेशा प्रॉफ़िट के साथ PE बड़ेगा ऐसा नही होता। जो हमने देखा। जेसे की colgate का आप PE ओर profit देख सकते है।

अभी हम कुछ example देखेगे की केसे profit, share price मे changes होने से केसे PE ratio पे असर हो रहा है।

PE Ratio देख कर या प्रॉफ़िट ग्रोथ देख कर आप investment का फेसला नही ले सकते आज हमने सिर्फ एक चीज़ बताई आगे हम ज्यादा जानेगे की ओर क्या क्या आप analysis करके अपना फेसला ले सकते है।

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