शेयर मार्केट में Derivative क्या होते हैं? और कितने प्रकार का होता है?
शेयर मार्केट में डेरिवेटिव्स क्या होते हैं, डेरिवेटिव का क्या मतलब है उदाहरण सहित समझाइए, Derivative Meaning in Hindi, Type of derivative in hindi, derivative trading kya hai in hindi
क्या आपको पता है कि दुनिया में सबसे ज्यादा ट्रेडिंग डेरिवेटिव्स में होती है और दुनिया के बेस्ट ट्रेडर्स भी derivatives में ही ट्रेडिंग करते हैं.
तो आखिर derivative क्या होते हैं, डेरिवेटिव कितने प्रकार के होते हैं और क्या derivative में ट्रेडिंग करना सही है? आज हम इस पोस्ट में इन सभी सवालों का जवाब जानने वाले हैं.
In This Post
डेरिवेटिव्स क्या होते हैं? Derivative Meaning in Hindi
डेरिवेटिव का मतलब है एक ऐसी चीज जो किसी अन्य चीज से आई हो यानी किसी और चीज पर आधारित हो. और डेरिवेटिव जिस चीज पर डिपेंड होता है उसे हम underlying asset या सिर्फ अंडरलाइंग कहते हैं.
हर डेरिवेटिव का प्राइस उसके underlying asset पर डिपेंड करता है. मतलब underlying asset का प्राइस बढ़ने पर डेरिवेटिव का भी प्राइस बढ़ेगा और underlying asset का प्राइस गिरने पर डेरिवेटिव का प्राइस भी गिरने लगेगा।
डेरिवेटिव का उदाहरण (Example of Derivative in Hindi)
हम जानते हैं कि सुगर हमें sugarcane यानी गन्ने से मिलती है तो हम कह सकते हैं कि जो शुगर है वह सुगरकेन यानी गन्ने की डेरिवेटिव है।
और जो गन्ना है वह सुगर का underlying asset है.
तो जब गन्ने की प्राइस बढ़ती है तो मार्केट में शक्कर के दाम भी बढ़ जाते हैं और जब गाने की प्राइस घटती है तो मार्केट में शक्कर के दाम भी कम हो जाते हैं।
ठीक इसी तरह शेयर मार्केट में फाइनेंशियल डेरिवेटिव्स होते हैं जिनके underlying asset कि अगर बात करें तो वह stocks, index, currencies और commodities होते हैं।
और जब इन सभी अंडरलाइंग एसेट की प्राइस चेंज होती है तो उसके साथ इन पर आधारित डेरिवेटिव्स की प्राइस भी चेंज हो जाती है।
डेरिवेटिव कितने प्रकार के होते हैं (Types of Derivative in Hindi)
डेरिवेटिव चार प्रकार के होते हैं–
- Forward
- Future
- Option
- Swap
डेरिवेटिव ट्रेडिंग क्या होती है (Derivative trading in hindi)
आपको पता होगा जब आप किसी कंपनी के स्टॉक को खरीदते और बेचते हैं तो उसे स्टॉक ट्रेडिंग कहते हैं. लेकिन अगर आप किसी कंपनी का शेयर buy ना करके उसी शेयर पर आधारित डेरिवेटिव को buy करें तो हम कहेंगे कि हमने स्टॉक ट्रेडिंग नहीं बल्कि उसी स्टॉक पर आधारित डेरिवेटिव ट्रेडिंग की है।
उदाहरण के लिए; अगर आप TCS शेयर को buy ना करके TCS के Future को buy करें तो हम कह सकते हैं कि हमने TCS में फ्यूचर ट्रेडिंग की है।
इसी प्रकार अगर आप TCS शेयर को buy ना करके TCS के Option को buy करें तो आप कह सकते हैं कि आपने TCS में ऑप्शन ट्रेडिंग की है।
क्या डेरिवेटिव्स में ट्रेडिंग करना चाहिए या नहीं?
दोस्तों इस सवाल का जवाब देना थोड़ा मुश्किल है क्योंकि यह अलग-अलग प्रकार के लोगों का डिपेंड करता है.
मतलब जो लोग लॉन्ग टर्म इन्वेस्टिंग यानी लंबे समय के लिए पैसा निवेश करना चाहते हैं वह डेरिवेटिव ट्रेडिंग पसंद नहीं करते हैं लेकिन अगर हम ट्रेडर्स की बात करें जो शॉर्ट टर्म में बड़ा प्रॉफिट कमाना चाहते हैं तो उनके लिए डेरिवेटिव ट्रेडिंग बहुत important होती है।
और शेयर मार्केट में बहुत सारे लोग तो ऐसे भी हैं जो सिर्फ और सिर्फ डेरिवेटिव्स में ही ट्रेडिंग करते हैं तो यह पूरी तरह से आपके ऊपर निर्भर है कि आप डेरिवेटिव में ट्रेडिंग करना चाहते हैं या नहीं.
Derivatives meaning in hindi – Conclusion
इस पोस्ट में आपने सीखा कि डेरिवेटिव क्या होते हैं, उदाहरण के साथ डेरिवेटिव का मतलब समझा, साथ ही जाना कि डेरिवेटिव कितने प्रकार के होते हैं और डेरिवेटिव में ट्रेडिंग करनी चाहिए या नहीं.
अगर आप शेयर मार्केट में आए हैं और आपने पहली बार डेरिवेटिव ट्रेडिंग के बारे में जाना है तो मुझे पूरी उम्मीद है कि यह जानकारी आपके लिए बहुत उपयोगी रही होगी.
लेकिन अगर आपके मन में अभी भी इस टॉपिक से संबंधित कोई भी सवाल है तो नीचे कमेंट करके पूछ सकते हैं।